मोतीलाल नेहरू

0


 मोतीलाल नेहरू एक प्रमुख भारतीय वकील, स्वतंत्रता सेनानी, और राजनेता थे, जिनका जन्म 6 मई 1861 को आगरा में हुआ था। वे भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के पिता थे और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के दो बार अध्यक्ष रहे। उनका परिवार कश्मीरी पंडित था और उनके पिता का नाम गंगाधर नेहरू था।


 प्रारंभिक जीवन और शिक्षा

मोतीलाल नेहरू का बचपन राजस्थान के खेतड़ी में बीता, जहां उनके बड़े भाई नंदलाल ने उनका पालन-पोषण किया। उन्होंने इलाहाबाद के म्योर सेंट्रल कॉलेज में शिक्षा प्राप्त की, लेकिन बी.ए. की अंतिम परीक्षा नहीं दे पाए। बाद में, उन्होंने कैम्ब्रिज से "बार ऐट लॉ" की उपाधि प्राप्त की और इलाहाबाद हाईकोर्ट में एक सफल वकील के रूप में काम किया।


राजनीतिक करियर

मोतीलाल नेहरू ने 1919 में अमृतसर में कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में कार्य किया और 1928 में कलकत्ता में दोबारा अध्यक्ष बने। उन्होंने 1923 में देशबंधु चित्तरंजन दास के साथ मिलकर स्वराज पार्टी की स्थापना की। 1928 में, उन्होंने नेहरू रिपोर्ट तैयार की, जो भारत के लिए एक भविष्य के संविधान का प्रस्ताव था।


स्वतंत्रता संग्राम में योगदान

जलियांवाला बाग हत्याकांड के बाद, मोतीलाल नेहरू ने महात्मा गांधी के असहयोग आंदोलन में शामिल होकर अपनी वकालत छोड़ दी और एक साधारण जीवन शैली अपनाई। उन्होंने 1930 के सविनय अवज्ञा आंदोलन में भी भाग लिया और जेल गए।


व्यक्तिगत जीवन

मोतीलाल नेहरू की पत्नी का नाम स्वरूप रानी था। उनके तीन बच्चे थे: जवाहरलाल नेहरू, विजयलक्ष्मी पंडित, और कृष्णा हठीसिंह।


मोतीलाल नेहरू का निधन 6 फरवरी 1931 को हुआ। वे भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के एक महत्वपूर्ण नेता थे और नेहरू-गांधी परिवार के प्रमुख सदस्य के रूप में उनकी विरासत आज भी भारतीय राजनीति में महत्वपूर्ण मानी जाती है।


एक टिप्पणी भेजें

0टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें (0)

#buttons=(Accept !) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Learn More
Accept !